Saturday, June 28, 2025
Google search engine
HomeUncategorizedमुख्यमंत्री सौर ऊर्जा परियोजना 2.0 : महाराष्ट्र में 1071 मेगावॉट के सौर...

मुख्यमंत्री सौर ऊर्जा परियोजना 2.0 : महाराष्ट्र में 1071 मेगावॉट के सौर प्रकल्प, 3 लाख किसानों को होगा लाभ

मुंबई। परंपरागत ऊर्जा पर निर्भरता घटाकर, कार्बन उत्सर्जन में कमी लाने और किसानों को दिन के समय निर्बाध बिजली आपूर्ति सुनिश्चित कर कृषि उत्पादन क्षमता बढ़ाने के उद्देश्य से महाराष्ट्र सरकार ने मुख्यमंत्री सौर ऊर्जा परियोजना 2.0 की शुरुआत की है। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने जानकारी दी कि इस योजना के तहत महाराष्ट्र राज्य विद्युत निर्माण कंपनी लिमिटेड (महानिर्मिती) द्वारा राज्यभर में 1071 मेगावॉट क्षमता के सौर ऊर्जा प्रकल्प शीघ्र आरंभ किए जाएंगे, जिनसे 3 लाख से अधिक किसानों को सीधा लाभ मिलेगा। महानिर्मिती राज्य सरकार की पूर्ण स्वामित्व वाली बिजली उत्पादन कंपनी है, जिसकी कुल स्थापित क्षमता 13,880 मेगावॉट है। यह एनटीपीसी के बाद देश की दूसरी सबसे बड़ी राज्य विद्युत उत्पादक कंपनी है। कंपनी पारंपरिक ऊर्जा स्रोतों के साथ-साथ अब सौर और नवीकरणीय ऊर्जा की दिशा में भी तेजी से काम कर रही है, जिससे सस्ती और स्वच्छ बिजली उपलब्ध कराई जा सके।
जीईएपीपी इंडिया का सहयोग
इस परियोजना को अंतरराष्ट्रीय संस्था जीईएपीपी इंडिया (Global Energy Alliance for People and Planet) का तकनीकी सहयोग मिल रहा है। द रॉकफेलर फाउंडेशन, इकेया फाउंडेशन और बेजॉस अर्थ फंड के साझे प्रयास से बनी यह संस्था विकासशील देशों को हरित ऊर्जा परिवर्तन में मदद करती है। भारत में यह संस्था विशेष रूप से वितरण योग्य सौर ऊर्जा परियोजनाओं को कार्यान्वित कर रही है।
मुख्यमंत्री सौर कृषि वाहिनी योजना 2.0
इस योजना के तहत सरकार का लक्ष्य है कि किसानों को दिन के समय सिंचाई के लिए निर्बाध सौर ऊर्जा मिले। इसके लिए कृषि उपयोग वाले फीडरों का सोलराइजेशन किया जा रहा है। मिशन 2025 के अंतर्गत 30% कृषि फीडरों को सौर ऊर्जा से जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है।
डिजिटल प्लेटफॉर्म और निगरानी प्रणाली
परियोजना के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु प्रोजेक्ट मॉनिटरिंग यूनिट (PMU) और एक केंद्रीय डिजिटल डैशबोर्ड विकसित किया जाएगा। इसकी मदद से जमीन अधिग्रहण से लेकर प्रगति की दैनिक निगरानी की जा सकेगी। सभी अधिकारियों को डैशबोर्ड उपयोग के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा। परियोजना के विभिन्न पहलुओं पर मार्गदर्शन के लिए एक नीतिगत संयुक्त समिति का गठन भी किया जाएगा।
रोजगार और सतत विकास
इस परियोजना से न केवल किसानों को लाभ मिलेगा, बल्कि स्थानीय स्तर पर रोजगार के नए अवसर भी सृजित होंगे। साथ ही, यह योजना महाराष्ट्र को हरित और सतत विकास की दिशा में एक मजबूत कदम प्रदान करेगी।

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -
Google search engine

Most Popular

Recent Comments