मुंबई। शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत ने अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले गुट के बीच यहां शिवसेना के संस्थापक दिवंगत बाल ठाकरे के स्मारक पर हुई झड़प को शुक्रवार को एक ‘‘ट्रेलर’’ करार दिया। उन्होंने कहा कि इससे पता चलता है कि 2024 में राष्ट्रीय और महाराष्ट्र चुनावों से पहले क्या होने वाला है। एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना और उद्धव ठाकरे की शिवसेना (यूबीटी) के कार्यकर्ता गुरवार की रात आमने-सामने आ गए थे और उन्होंने दिवंगत बाल ठाकरे के स्मारक पर एक-दूसरे के खिलाफ नारे लगाए थे। राउत ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि शिवाजी पार्क में हुई झड़प शिवसेना के वफादारों और सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के ‘‘गुलामों’’ के बीच हुई थी। उन्होंने शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना पर भी निशाना साधा और प्रश्न किया कि जिन लोगों ने पार्टी की पीठ में छुरा घोंपा और बाल ठाकरे के आदर्शों को ठुकराया, वे शिव सैनिक कैसे हो सकते हैं। वह पिछले साल जून में शिंदे के नेतृत्व वाले गुट द्वारा पार्टी में विद्रोह का जिक्र कर रहे थे, जिसके कारण मूल पार्टी में विभाजन हो गया था और उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार गिर गई थी।
शिवसेना (यूबीटी) के राज्यसभा सदस्य राउत ने कहा, जो लोग वफादार हैं और बालासाहेब के आदर्शों का पालन करते हैं, वे असली शिवसैनिक हैं… उन्होंने (प्रतिद्वंद्वी समूह) का विरोध किया होगा और यह महाराष्ट्र को स्वीकार्य है। वफादार शिवसैनिकों द्वारा गद्दारों का विरोध एक ट्रेलर है और इससे पता चलता है कि 2024 में राष्ट्रीय और महाराष्ट्र चुनावों से पहले क्या होने वाला है। संजय राउत ने मुख्यमंत्री शिंदे को ‘विभीषण’ भी करार दिया। उन्होंने कहा बालासाहेब के ‘स्मृति स्थल’ (स्मारक) पर हर कोई आ सकता है। लेकिन नौटंकी करने वालों को हम शिवसैनिक कभी स्वीकार नहीं करेंगे।