महाराष्ट्र में ईडी ने कार्रवाई करते हुए कहा है कि उसने औरंगाबाद में प्रधानमंत्री आवास योजना के टेंडर आवंटन में अनियमितताओं की जांच के सिलसिले में औरंगाबाद, पुणे और अकोला समेत नौ स्थानों पर छापेमारी की है। ईडी ने औरंगाबाद नगर निगम में समरथ कंस्ट्रक्शन एंड जेवी, एनडीओ ग्लोबल इंफ्रास्ट्रक्च सर्विसेज, जगुआर ग्लोबल सर्विसेज और उनके संबंधित भागीदारों के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी के आधार पर जांच शुरू की।
जांच के बाद प्राथमिकी की गई दर्ज
पीएमएवाई योजना औरंगाबाद में सात भूखंडों पर लागू की जानी थी और यह पाया गया कि सभी तीन ई-निविदाएं एक ही आईपी पते से अपलोड की गई थीं। पीएमएवाई नियामकों द्वारा इस विसंगति की पहचान करने के बाद प्राथमिकी दर्ज की गई थी कि बिड हासिल करने वाली फर्म इतनी बड़ी परियोजना को लागू करने में वित्तीय रूप से सक्षम नहीं है।
ईडी को जांच में क्या मिले सबूत
ईडी की जांच में यह भी पता चला है कि तीन जेवी फर्मों ने एक ही आईपी पते से ई-टेंडर के लिए आवेदन किया था। समरथ कंस्ट्रक्शन एंड जेवी को टेंडर आवंटित किया गया था, लेकिन बैंक गारंटी 46.24 करोड़ रुपये में से मात्र 88.60 लाख रुपये की बीजी जमा की गई थी।
नगर पालिका की टेंडर फाइल की बरामद
इसके अलावा, समरथ कंस्ट्रक्शन एंड जेवी ने नई निविदा प्रक्रिया के बिना 19.22 हेक्टेयर से 120 हेक्टेयर के लिए प्रारंभिक निविदा का विस्तार करवाकर नियत प्रक्रिया को उलट दिया। ईडी ने कहा, इस घोटाले में शामिल सरकारी सब्सिडी की राशि लगभग एक हजार करोड़ रुपये है। सभी तीन निविदा आवेदकों पर तलाशी ली गई। ईडी ने आवेदक के पास से औरंगाबाद नगर पालिका की टेंडर फाइल की नोटशीट सहित कई आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए हैं।