
रायपुर:(Chhattisgarh Assembly) छत्तीसगढ़ विधानसभा सत्र के दूसरे दिन बुधवार को बेरोज़गारी भत्ते को लेकर सदन में जमकर हंगामा हुआ। विपक्ष ने पूछा कि 22 हजार लोगों को रोजगार देने का विज्ञापन दिया, तो 33 हजार लोगों की भर्ती कैसे हो गई? विभागीय मंत्री ने माना कि 22 हजार विज्ञापन में 33 हजार लोगों को रोजगार मिला है। इसके लिए अलग-अलग विभागों में व्यवस्था की गई। विभागीय मंत्री उमेश पटेल के जवाब से असंतुष्ट भाजपा सदस्यों ने जमकर हंगामा किया। इसके बाद विपक्ष ने सदन से बर्हिगमन कर दिया।
भाजपा विधायक अजय चंद्राकर ने सदन में बेरोजगारी भत्ता को लेकर मंत्री से जानना चाहा कि 30 जून 2023 तक कितने शिक्षित पंजीकृत, बेरोजगारी दर क्या है? यह किस संस्था द्वारा किस पर आधार तय किया है? भत्ता देने हेतु क्या नियम व शर्तें हैं? कितने बेरोजगार को भत्ता दिया गया व कितने अपात्र हुए़? बेरोजगारी दर क्या है?
मंत्री उमेश पटेल ने बताया कि 20 जून 2023 की स्थिति में एक लाख 72 हजार 553 ने बेरोजगारी भत्ता हेतु पंजीयन कराया है। 20 जून 2023 की स्थिति में एक लाख 14 हजार 764 पात्र एवं 33 हजार 559 अपात्र हुए हैं। अजय चंद्राकर ने कहा कि बिना किसी को नौकरी दिए 33 हजार 659 अपात्र हो गए। शिवरतन शर्मा ने कहा कि छत्तीसगढ़ के बेरोजगारों को गुमराह किया जा रहा है। भाजपा के सदस्य इस मामले में मंत्री के जवाब से असंतुष्ट नजर आए।
अजय चंद्राकर ने कहा कि बेरोज़गारी पंजीयन के लिए उम्र की बाध्यता नहीं है। यह हास्यास्पद है। चर्चा के दौरान मंत्री उमेश पटेल ने तंज कसते हुए कहा कि वैसे अजय चंद्राकर अभी जाकर पंजीयन कराएंगे तो उनका भी हो जाएगा, लेकिन वर्तमान में विधायक हैं, अभी न जाएं, नहीं तो मैसेज अच्छा नहीं जाएगा।
इधर नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने आरोप लगाया कि बेरोजगारों को भत्ता देने के नियम रोज बदले जा रहे हैं। सरकार 10 लाख लोगों को रोजगार देने के होर्डिंग लगा रही है, लेकिन कितने बेरोजगार पंजीकृत है, इसकी जानकारी नहीं दी जा रही है। विभागीय मंत्री उमेश पटेल के जवाब से असंतुष्ट विपक्ष ने खड़े होकर नारेबाजी शुरू कर दी और सदन से बर्हिगमन कर दिया।