
मुंबई। महाराष्ट्र और दक्षिण कोरिया के बीच कपड़ा क्षेत्र में सहयोग को लेकर व्यापारिक संबंधों के विस्तार की दिशा में सकारात्मक संकेत मिले हैं। महाराष्ट्र सरकार के प्रोटोकॉल राज्य मंत्री जयकुमार रावल और दक्षिण कोरिया के महावाणिज्य दूत डोंगवान यू के बीच सोमवार को सह्याद्री अतिथि गृह में हुई शिष्टाचार भेंट के दौरान दोनों पक्षों ने परस्पर व्यापारिक संभावनाओं पर विचार-विमर्श किया। बैठक के दौरान मंत्री रावल ने इस बात पर जोर दिया कि महाराष्ट्र, विशेष रूप से कपास उत्पादन में अग्रणी होने के कारण, कोरियाई कपड़ा मशीनरी के साथ साझेदारी कर एक मजबूत औद्योगिक संबंध कायम कर सकता है। उन्होंने कहा कि “महाराष्ट्र भारत का केंद्र है और यहां कुशल जनशक्ति की कोई कमी नहीं है। यदि कोरियाई तकनीक और निवेश इससे जुड़ते हैं, तो यह साझेदारी दोनों देशों के लिए लाभकारी साबित हो सकती है। उन्होंने आगे कहा कि राज्य सरकार मुंबई, पुणे और अन्य औद्योगिक क्षेत्रों में उद्यमियों को सुविधाएँ प्रदान कर रही है, और महाराष्ट्र कृषि प्रसंस्करण तथा फल-सब्जी निर्यात में पहले से ही अग्रणी भूमिका निभा रहा है। इस संदर्भ में रावल ने कोरियाई निवेशकों का स्वागत करते हुए कहा कि राज्य में कोरियाई कंपनियों के लिए अवसरों की कोई कमी नहीं है। दक्षिण कोरियाई महावाणिज्य दूत डोंगवान यू ने भी महाराष्ट्र की आर्थिक क्षमता की सराहना करते हुए कहा कि यह राज्य निवेश और व्यापार की दृष्टि से दक्षिण कोरिया के लिए एक रणनीतिक साझेदार है। उन्होंने जानकारी दी कि मुंबई और पुणे क्षेत्र में पहले से ही कई कोरियाई कंपनियां सक्रिय हैं और वे अपने उत्पादों का सफल संचालन कर रही हैं। महावाणिज्य दूत डोंगवान यू ने मंत्री जयकुमार रावल को 12 अक्टूबर को मुंबई में आयोजित होने वाले कोरियन फेस्टिवल में आमंत्रित किया और दोनों देशों के सांस्कृतिक और औद्योगिक रिश्तों को नई ऊंचाई पर ले जाने की प्रतिबद्धता जताई। इस बैठक को भारत-कोरिया व्यापारिक साझेदारी के लिए एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है, विशेष रूप से कपड़ा उद्योग और तकनीकी सहयोग के क्षेत्रों में।