
दंतेवाड़ा। छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में बड़ा नक्सली हमला हुआ है। इस हमले में 11 जवान शहीद हो गए हैं। नक्सलियों ने डीआरजी (जिला रिजर्व गार्ड) के जवानों को ले जा रहे एक वाहन पर कामचलाऊ विस्फोटक युक्ति (IED) से ब्लास्ट कर हमला किया। मिली जानकारी के अनुसार यह हमला छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले के अरनपुर के पास बुधवार दोपहर बाद हुआ। हमले के बाद दंतेवाड़ा में पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ शुरू हो गई है। इस हमले पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का बयान भी सामने आया है। भूपेश बघेल ने नक्सली हमले की निंदा करते हुए कहा कि दोषियों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा। सीएम ने यह भी कहा कि राज्य में नक्सल अब अंतिम दौर पर है। उनपर नकेल कसी जा रही है। दंतेवाड़ा में हुए नक्सली हमले में डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड के 10 जवान और एक ड्राइवर की जान गई। इस हमले के बाद पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी मामले की जांच में जुटे हैं।
छत्तीसगढ़ में कितने जिले नक्सल प्रभावित हैं
अब राज्य में 14 जिले नक्सल प्रभािवत हैं। इनमें बीजापुर, सुकमा, दंतेवाड़ा, बस्तर, नारायणपुर, कोंडागांव, कांकेर, राजनांदगांव, बालोद, गरियाबंद, धमतरी, महासमुंद, कवर्धा और बलरामपुर जिले शामिल हैं। इन जिलों की सुरक्षा में करीब 60 हजार से अधिक जवान तैनात हैं।
छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद कब शुरू हुआ
नक्सलियों का दावा है कि वे सरकार के खिलाफ दीर्घकालीन जनयुद्ध के समान ग्रामीण विद्रोह की रणनीति अपना रहे हैं। चारु मजूमदार, कानू सान्याल और जंगल संथाल के नेतृत्व में 1967 के नक्सलबाड़ी विद्रोह के बाद उग्रवाद शुरू हुआ।छत्तीसगढ़ में नक्सली हमले में कितने सैनिक मारे गए
बीता दिनों लोकसभा में गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय नक्सली हिंसा के बारे में संसद ने जानकारी देते हुए बताया कि, छत्तीसगढ़ में 2018 से 28 फरवरी 2023 तक कुल 175 सुरक्षा बल के जवान मारे गए, जबकि राज्य में 328 वामपंथी चरमपंथी मारे गए और 345 नागरिकों की जान गई।