
मुंबई। संत आशारामजी बापू आश्रम एवं युवा सेवा संघ- मुंबई, ठाणे, नवी मुंबई के तत्त्वावधान में दिनांक १४ फरवरी को गोरेगाँव पूर्व में एक अनोखा प्रेम दिवस मनाया गया ‘मातृ-पितृ पूजन दिवस’। सामूहिक रूप से मनाये जाने वाले इस भव्य महोत्सव की शुरुवात गणेश वंदना और सरस्वती माता का पूजन करके किया गया तत्पश्चात बाल संस्कार के बच्चों व युवाओं द्वारा माता-पिता का जीवन में महत्व समझाते हुए सांस्कृतिक नाट्य एवं नृत्य प्रस्तुति की गई। भव्य मातृ-पितृ पूजन महोत्सव में सैकड़ो की संख्या में उपस्थित बच्चे व युवाओं ने अपने-अपने माता-पिता को आसन पर बिठाकर फूल-मालाएँ पहनाई, तिलक किया और हाथों में पूजा की थाली लेकर पूजा-अर्चना की। अपने माता-पिता को अपने हाथों से मिठाई खिलायी और जैसे गणेशजी ने शिव पार्वती की परिक्रमा की थी ठीक उसी प्रकार सभी ने अपने माता-पिता की ७ परिक्रमा की घ् फिर माता-पिता ने बच्चों को हृदय से लगा लिया और शुभ आशीष दिया। भारतीय परम्परा की इस झलक को देखकर माता-पिता सहित उपस्थित अन्य लोगों की भी आँखें गीली हो गयीं। संत श्री आशारामजी बापू के विडिओ सत्संग द्वारा लोगों को ‘मातृ-पितृ पूजन दिवस’ क्यों और कैसे मनायें इसकी स्पष्ट जानकारी दी गयी। कार्यक्रम में उपस्थित अभिभावकगण व पूरे जनसमूह ने उक्त आयोजन को खूब सराहा और भविष्य में ऐसे और भी आयोजन होते रहें, ऐसी इच्छा जाहिर की। बच्चों ने भी वेलेंटाइन डे के बजाय अपने माता-पिता और गुरुजनों का आदर-सम्मान करने के इस दिन को प्रत्येक साल मनाने का संकल्प लिया। अंत में सभी को भोजन प्रसाद कराकर इस कार्यक्रम की पूर्णाहुति की गयी।
