
मुंबई। तीन महीने पहले विरार में हुए दुखद बिल्डिंग हादसे में, जिसमें 17 लोगों की मौत हुई थी, वसई-विरार म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन के असिस्टेंट कमिश्नर गिलसन गोंसाल्वेस को कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। इस फैसले के बाद म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन ने उन्हें सस्पेंड भी कर दिया है। हादसा 26 अगस्त, 2025 को विरार ईस्ट के विजयनगर इलाके में चार मंजिला रमाबाई अपार्टमेंट का एक हिस्सा गिरने से हुआ था। इस आपदा में 17 लोगों की मौत हुई और 9 अन्य घायल हुए। गणेशोत्सव के दौरान हुई इस त्रासदी से पूरे शहर में सदमे का माहौल रहा। पुलिस कमिश्नर निकेत कौशिक ने हादसे की जांच क्राइम ब्रांच यूनिट-3 को सौंप दी थी। गोंसाल्वेस पर कानून की अलग-अलग धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया और 5 दिसंबर, 2025 को उन्हें गिरफ्तार किया गया था। प्रारंभ में उन्हें पूछताछ के लिए पुलिस हिरासत में रखा गया था। क्राइम ब्रांच यूनिट-3 के सीनियर इंस्पेक्टर शाहूराज रणवरे ने बताया कि पुलिस हिरासत खत्म होने के बाद कोर्ट में पेश किए जाने पर गोंसाल्वेस को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा गया। इसके बाद म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन ने उन्हें सेवा से सस्पेंड कर दिया। रमाबाई अपार्टमेंट त्रासदी ने शहर में अवैध और खतरनाक इमारतों के मुद्दे को फिर से उजागर कर दिया। आरोप हैं कि बिल्डिंग को खतरनाक घोषित किए जाने के बावजूद, सिविक अधिकारियों ने निवासियों को निकालने में कार्रवाई नहीं की, जिससे जान-माल का नुकसान हुआ। सूत्रों के अनुसार, गोंसाल्वेस पहली हाई-प्रोफाइल गिरफ्तारी हैं, लेकिन जांच अभी जारी है और अन्य म्युनिसिपल अधिकारियों के खिलाफ भी इसी तरह की कार्रवाई की संभावना है।




