Maharashtra : नगालैंड की नेफ्यू रियो सरकार को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) ने समर्थन दिया है. मुख्यमंत्री रियो के नेतृत्व वाले गठबंधन को समर्थन देने पर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले शिवसेना गुट ने सवाल खड़े किए हैं. इसके नेता और मंत्री ने गुरुवार (9 मार्च) को एनसीपी पर तंज कसा. उन्होंने कहा कि एनसीपी के इस कदम में पैसे का कोई लेन-देन शामिल है?
महाराष्ट्र के जल आपूर्ति मंत्री गुलाबराव पाटिल ने विधानसभा में कहा कि एनसीपी एक तरफ बीजेपी (BJP) को एक सांप्रदायिक पार्टी का तमगा देकर उसकी आलोचना करती है, जबकि नगालैंड में उसने नेशनलिस्ट डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी (NDPP) और बीजेपी गठबंधन सरकार को समर्थन दिया है.
क्या कोई पैसे का समझौता हुआ?
मंत्री गुलाबराव पाटिल ने पूछा, “क्या कोई पैसे का समझौता हुआ है?” इसपर महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता अजित पवार ने कड़ी आपत्ति जताते हुए कहा कि राज्य और केंद्र में बीजेपी सत्ता में है और मामले की जांच कर सकती है. अजित पवार ने कहा, “विधानसभा में एक उत्तर-पूर्वी राज्य में राजनीतिक बात पर चर्चा करने की क्या जरूरत है? कुछ फैसले राष्ट्रीय हित में लेने होंगे.”
बीजेपी पहले ही एनडीपीपी को समर्थन दिया
दरअसल एनसीपी ने एनडीपीपी नेता और मुख्यमंत्री नेफ्यू रियो के नेतृत्व वाली नवगठित नगालैंड सरकार को अपना समर्थन दिया. वहीं बीजेपी पहले ही एनडीपीपी को समर्थन दे चुकी है. शरद पवार के नेतृत्व वाली एनसीपी ने हाल ही में 60 सदस्यीय नगालैंड विधानसभा के लिए हुए चुनावों में सात सीटों पर जीत हासिल की है. एनडीपीपी-बीजेपी सरकार बनने के बाद उम्मीद की जा रही थी कि एनसीपी राज्य में मुख्य विपक्षी पार्टी की भूमिका में होगी.
हालांकि, अभी यह साफ नहीं है कि एनसीपी नगालैंड में सरकार का हिस्सा बनेगी या केवल बाहर से समर्थन करेगी. नगालैंड की राजनीति से जुड़े इस बड़े घटनाक्रम की राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं शुरू हो गई हैं. दरअसल महाराष्ट्र में एनसीपी बीजेपी की घोर विरोधी है और महा विकास अघाड़ी में शामिल है. महा विकास अघाड़ी में एनसीपी के अलावा कांग्रेस और शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) भी शामिल हैं.