
पटना :(Kathmandu) बिहार की राजधानी पटना में आयोजित दो दिवसीय जी-20 के तहत आने वाले लेबर इंगेजमेंट ग्रुप (एल-20) के देश और विदेश से आये सभी प्रतिनिधि शनिवार को नालंदा पहुंचे। यहां प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय परिसर में नालंदा के डीएम शशांक शुभंकर ने सदस्यों का गर्मजोशी से स्वागत किया। सभी प्रतिनिधियों ने नालंदा में घूम-घूमकर भग्नावशेष के बारे में विस्तृत जानकारी हासिल की।
इस दौरान चप्पे-चप्पे पर सुरक्षा की पुख्ता व्यवस्था की गयी है। 261 स्थानों पर मजिस्ट्रेट और 632 सुरक्षा बल तैनात की गई थी। प्राचीन नालंदा विश्व विश्वविद्यालय के भग्नावशेष का अवलोकन कर टीम के सदस्यों ने कहा कि यह विश्व धरोहर की अनूठी पहल है, जहां से पूरे विश्व में ज्ञान की रोशनी फैलाई जाती थी। इस ज्ञान की धरती पर आकर हमें बहुत अच्छा लगा।
विदेशी प्रतिनिधियों का बिहारी रीति-रिवाज से किया गया भव्य स्वागत
एल-20 सम्मेलन में शामिल विदेशी प्रतिनिधियों के नालंदा भ्रमण के दौरान ‘अतिथि देवो भव’ की परंपरा के साथ बिहारी रीति-रिवाज से भव्य स्वागत किया गया। इस दौरान मधुबनी पेंटिग, मगही संस्कृति का भी समावेश दिखा। प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय भग्नावशेष के मुख्य द्वार पर जीविकाकर्मी, सीडीपीओ कार्यालय के कर्मी व शिक्षा विभाग के कर्मी के द्वारा तिलक लगाने के बाद माला पहना कर स्वागत किया गया। इसके उपरांत सभी मेहमानों को अंग वस्त्र प्रदान किया गया।
परोसे गये बिहार की प्रसिद्ध व्यंजन
टी पार्टी के दौरान मेहमानों को बिहार की प्रसिद्ध मिठाई जैसे सिलाव का खाजा, लिट्टी चने की घुघनी, गया का इनरसा, बालूशाही, चाट, छोले, लस्सी, छाछ, आम रस आदि परोसे गए। सभी मेहमानों ने बिहार के मिठाइयों के स्वाद की तारीफ की।
उल्लेखनीय है कि जी-20 के देशों में अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, चीन, यूरोपीय संघ, फ्रांस, जर्मनी, भारत, इंडोनेशिया, इटली, जापान, मैक्सिको, रूस, सऊदी अरब, दक्षिण अफ्रीका, दक्षिण कोरिया, तुर्की, यूनाइटेड किंगडम व संयुक्त राज्य अमेरिका, स्पेन स्थायी अतिथि हैं।