मुंबई। उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने जिस नवाब मलिक पर अंडरवर्ल्ड से संबंध होने का गंभीर आरोप लगाया था, उन्हीं मलिक की अब अजित पवार को जरूरत पड़ रही है। भाजपा और शिवसेना के विरोध के बावजूद अजित पवार को नवाब मलिक की जरूरत क्यों महसूस हो रही है? दरअसल, मुंबई में मंगलवार को अजित पवार के देवगिरी बंगले पर हुई बैठक में नवाब मलिक भी मौजूद थे। इसके बाद से सियासी गलियारों में ये चर्चा है कि नवाब मलिक अजित पवार का समर्थन कर सकते हैं। पिछले सर्दी सत्र में नवाब मलिक सत्ताधारी पक्ष के साथ बैठने के कारण महायुति में विवाद उत्पन्न हुआ था। उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने अजित पवार को पत्र लिखकर नवाब मलिक को महायुति में शामिल करने का विरोध किया था। लेकिन फडणवीस के विरोध के बावजूद अजित पवार ने नवाब मलिक को साथ लेने का निर्णय लिया।राजनीतिक समीकरण
राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि अजित पवार को नवाब मलिक की इतनी जरूरत क्यों पड़ रही है। हाल ही में हुए लोकसभा चुनाव में अजित पवार की राष्ट्रवादी पार्टी को केवल एक सीट जीतने में सफलता मिली थी। पार्टी के नेताओं का मानना है कि महायुति के साथ जाने के कारण मुस्लिम मतदाता उनसे दूर हो गए हैं। अब विधान परिषद की 11 सीटों के लिए चुनाव होने वाला है और अजित पवार ने दो उम्मीदवार मैदान में उतारे हैं। ऐसे में अजित पवार की राष्ट्रवादी पार्टी के लिए एक-एक विधायक का वोट महत्वपूर्ण हो गया है, इसलिए उन्हें नवाब मलिक की जरूरत महसूस हो रही है।
सत्ता पक्ष के साथ विपक्षी नेताओ ने भी जताया विरोध
नवाब मलिक के बैठक में शामिल होने पर मनिषा कायंदे ने कहा कि वे नवाब मलिक का विरोध कर रहे हैं। उनपर यानी नवाब मलिक पर देशद्रोह का आरोप है और उनका विरोध कायम रहेगा। इस मुद्दे को लेकर अजित पवार को सफाई देनी चाहिए। वहीं महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता विजय वड्डेटीवार ने कहा कि, नवाब मलिक एनसीपी की बैठक में दिखाई दिए और अब देवेंद्र फडणवीस को यह स्पष्ट करना होगा कि नवाब मिलक महायुति में शामिल हैं या फिर नहीं हैं क्योंकि नवाब मलिक पर गंभीर आरोप भाजपा ने ही लगाया था। उन्होंने आगे कहा कि विधान परिषद चुनाव के लिए अजित पवार को नवाब मलिक का वोट चाहिए और शायद इसलिए ही उन्हें बैठक में बुलाया था। इस मामले पर एनसीपी (एसपी) के नेता जितेंद्र आव्हाड ने कहा कि, इससे हमारा क्या लेना देना कि बैठक में कौन जा रहा है। वे हमारी बैठक में नहीं आए थे। अब यह स्पष्ट हो गया है कि वो जिसके बैठक में थे, उनके साथ हैं। हम उनके घर वापसी की बात क्यों करें। इस मामले में अजित पवार से सवाल पूछा कि ‘नवाब मलिक बैठक में आए थे तो क्या वो आपके साथ जुड़ गए?’ इस सवाल पर अजित पवार ने कुछ ज्यादा तो नहीं बोला। उन्होंने कहा ‘आपको तकलीफ हो रही है क्या?’ खैर अब देखना होगा कि इस मामले में आगे क्या होता है और भाजपा और शिवसेना क्या करती है।