
पुणे। भारत के वाणिज्यिक वाहन और सड़क परिवहन उद्योग पर केंद्रित सबसे बड़े सम्मेलनों में से एक, वाणिज्यिक वाहन फोरम 2025 का आयोजन पुणे में सफलता पूर्वक संपन्न हुआ। इस वर्ष सम्मेलन का मुख्य फोकस स्थिरता (सस्टेनेबिलिटी) और नवाचार (इनोवेशन) पर रहा। महाराष्ट्र सरकार के परिवहन मंत्री प्रताप सरनाईक ने मुख्य अतिथि के रूप में फोरम में शिरकत की और राज्य की ई-मोबिलिटी नीति व हरित परिवहन समाधान को लेकर सरकार की प्रतिबद्धता को रेखांकित किया। सरनाईक ने अपने संबोधन में कहा कि महाराष्ट्र, जो पहले से ही ऑटोमोबाइल निर्माण का एक प्रमुख केंद्र है, अब इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) को प्रोत्साहन देने के लिए एक मज़बूत पारिस्थितिकी तंत्र तैयार कर रहा है। उन्होंने कहा, इस नीति का उद्देश्य न केवल स्वच्छ और हरित परिवहन को बढ़ावा देना है, बल्कि औद्योगिक विकास और रोजगार के नए अवसरों को भी उत्पन्न करना है। फोरम के दौरान ऑफ-हाइवे वाहन क्षेत्र, इलेक्ट्रिक वाणिज्यिक वाहन समाधान, और टिकाऊ परिवहन प्रणालियों पर केंद्रित सत्रों का आयोजन किया गया। इसमें देशभर के प्रमुख वाणिज्यिक वाहन निर्माता, डीलर, आपूर्तिकर्ता, परिवहन लॉजिस्टिक्स विशेषज्ञ और नीति निर्माता शामिल हुए।इस आयोजन का एक प्रमुख आकर्षण था वाणिज्यिक वाहन और बेड़ा पुरस्कार, जहां नवाचार, प्रदर्शन और स्थिरता के क्षेत्रों में उत्कृष्ट योगदान देने वाले संगठनों और व्यक्तियों को सम्मानित किया गया। ये पुरस्कार भारत के परिवहन भविष्य की दिशा तय करने वाले योगदानकर्ताओं की सराहना का प्रतीक बने। फोरम ने उद्योग के लिए एक सहयोगात्मक मंच प्रदान करते हुए वर्तमान रुझानों, तकनीकी नवाचारों और भविष्य की रणनीतियों पर विचार-विमर्श को प्रोत्साहित किया। इसमें विशेष रूप से शहरी परिवहन के हरित विकल्प, वाहन विद्युतीकरण की चुनौतियाँ, आपूर्ति श्रृंखला डिजिटलीकरण और संचालन की दक्षता जैसे विषयों पर भी चर्चा हुई। वाणिज्यिक वाहन फोरम 2025 ने न केवल परिवहन उद्योग के उभरते स्वरूप को प्रस्तुत किया, बल्कि यह स्पष्ट संदेश भी दिया कि भारत की सड़क परिवहन नीति अब हरित ऊर्जा, नवाचार और सहयोग की ओर बढ़ रही है।