Saturday, July 26, 2025
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मुख्यमंत्री फडणवीस का निर्देश: सहकारी सूतगिरणियों को आर्थिक सहायता, वस्त्र नीति में सुधार और ऊर्जा समस्याओं पर संयुक्त समिति होगी गठित

मुंबई। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शनिवार को राज्य में सहकारी सूतगिरणियों के सतत विकास, वस्त्र उद्योग में ऊर्जा संबंधी समस्याओं के समाधान और लंबित नीतिगत मुद्दों के त्वरित निपटारे हेतु कई अहम निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि सामाजिक न्याय, आदिवासी विकास और बहुजन कल्याण विभागों के अधीन आने वाली नई सहकारी सूतगिरणियों के लिए समान मापदंड तय किए जाएं और संबंधित विभाग अतिरिक्त बजटीय प्रावधान करें। वर्षा निवास पर आयोजित वस्त्र उद्योग विभाग की समीक्षा बैठक में उन्होंने यह निर्देश दिए। इस बैठक में वस्त्र उद्योग मंत्री संजय सावकारे, विधान परिषद सदस्य अमरीश पटेल, वित्त विभाग के अपर मुख्य सचिव ओ. पी. गुप्ता, मुख्यमंत्री कार्यालय की प्रधान सचिव अश्विनी भिडे, वस्त्र उद्योग विभाग की प्रधान सचिव अंशु सिन्हा, वस्त्र आयुक्त संजय दैणे, रेशीम निदेशक विनय मुन समेत वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि सूतगिरणियों को प्रति चक्की ₹5,000 की दर से दिए जाने वाले कर्ज पर ब्याज अनुदान योजना की अवधि बढ़ाते हुए उसमें आधुनिकीकरण और ग्रेडेशन को भी शामिल किया जाए। उन्होंने सुझाव दिया कि राष्ट्रीय वस्त्र निगम के अधीन बंद पड़ी मिलों को पुनः शुरू करने के लिए रिपोर्ट तैयार की जाए और उस आधार पर केंद्र सरकार को प्रस्ताव भेजा जाए। फडणवीस ने वस्त्र उद्योग में सौर ऊर्जा के उपयोग में आ रही दिक्कतों के समाधान के लिए ऊर्जा और वस्त्र विभाग की संयुक्त समिति गठित करने का भी निर्देश दिया।
बैठक में समीक्षा किए गए प्रमुख विषय:
सामाजिक न्याय और आदिवासी विकास विभाग की सूतगिरणियों को एक समान आर्थिक सहायता नीति।
सहकारी सूतगिरणियों को लीज पर देने की योजना।
सूतगिरणियों को पुनर्वास ऋण देने के लिए नई योजना।
नई महाराष्ट्र राज्य वस्त्र उद्योग विकास महामंडल की स्थापना।
वस्त्र आयुक्तालय और रेशीम संचालनालय का प्रस्तावित विलय।
एकात्मिक व सतत वस्त्र नीति 2023–28 में आवश्यक सुधार।
सहकारी सूतगिरणियों और यंत्रमाग संस्थाओं से सरकारी बकाया वसूली के लिए स्पष्ट नीति निर्माण।
राज्य की सभी यंत्रमागों के पंजीकरण की प्रक्रिया को शीघ्र पूरा करना।
रेशीम संचालनालय की पुणे स्थित इमारत की मरम्मत और सुविधाओं हेतु महाराष्ट्र राज्य खादी ग्रामोद्योग मंडल से अनापत्ति प्रमाणपत्र जल्द प्राप्त करना।
प्रकल्प लागत को ₹80.90 करोड़ से बढ़ाकर ₹118 करोड़ करने की कार्यवाही।
सातारा जिले के वाई में रेड क्रॉस सोसायटी की लीज पर दी गई भूमि को जिलास्तरीय रेशीम कार्यालय के लिए स्थायी रूप से अधिग्रहण करना।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार वस्त्र उद्योग के समेकित विकास के लिए प्रतिबद्ध है और नीतिगत बाधाओं को दूर कर सूतगिरणियों के सशक्तिकरण और ग्रामीण रोजगार के विस्तार पर केंद्रित नीति बनाई जा रही है।

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