मुंबई। बीड जिले के सरपंच संतोष देशमुख की हत्या के बाद आलोचनाओं का सामना कर रहे महाराष्ट्र के खाद्य, नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण मंत्री धनंजय मुंडे ने मंगलवार को स्पष्ट किया कि उन्होंने राज्य मंत्रिमंडल से इस्तीफा नहीं दिया है। राज्य मंत्रिमंडल की बैठक के बाद संवाददाताओं से बातचीत में मुंडे ने कहा, मैंने इस्तीफा नहीं दिया है। हालांकि, उन्होंने इस मुद्दे पर अन्य सवालों का जवाब देने से इनकार कर दिया। इस मामले में विपक्षी नेताओं ने मुंडे पर तीखा हमला बोला है। एनसीपी (सुप्रिया पवार गुट) की सांसद सुप्रिया सुले और शिवसेना (यूबीटी) के नेता संजय राउत ने मंत्री से नैतिक आधार पर इस्तीफा देने की मांग की है। बारामती में पत्रकारों से बात करते हुए सुप्रिया सुले ने कहा, “धनंजय मुंडे को नैतिक आधार पर इस्तीफा दे देना चाहिए।” वहीं, संजय राउत ने उपमुख्यमंत्री अजित पवार द्वारा मुंडे का समर्थन किए जाने पर सवाल उठाया। राउत ने कहा, जब बीड और अन्य जगहों के लोग मुंडे का इस्तीफा मांग रहे हैं, तो अजित पवार उन्हें क्यों बचा रहे हैं? यह विवाद उस समय और गहरा गया जब मुंडे के करीबी सहयोगी वाल्मिक कराड ने 31 दिसंबर को पुणे में अपराध जांच विभाग (सीआईडी) के समक्ष आत्मसमर्पण किया। कराड पर 9 दिसंबर को सरपंच संतोष देशमुख की हत्या से जुड़े एक जबरन वसूली मामले में शामिल होने का आरोप है। मुंडे को लेकर राज्य में बढ़ती राजनीतिक गरमागरमी ने महाराष्ट्र की राजनीति को एक बार फिर चर्चा में ला दिया है। विपक्ष ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और डिप्टी सीएम अजित पवार से इस मामले में कार्रवाई की मांग की है।