
मुंबई। शिवसेना (यूबीटी) सांसद संजय राउत ने उपराष्ट्रपति चुनाव को लेकर भाजपा पर तीखा हमला करते हुए क्रॉस वोटिंग की संभावना जताई है। उन्होंने सवाल उठाया कि यदि भाजपा के पास बहुमत है, तो विपक्षी दलों से समर्थन मांगने की आवश्यकता क्यों पड़ रही है? क्या यह डर है कि डुप्लीकेट शिवसेना के वोट बंट सकते हैं? संजय राउत ने शुक्रवार को मीडिया से बातचीत में कहा कि ‘इंडिया अघाड़ी’ ने विपक्षी दल के संयुक्त उम्मीदवार जस्टिस बी. सुदर्शन रेड्डी को समर्थन देने का फैसला लिया है। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह द्वारा उद्धव ठाकरे और शरद पवार को किए गए फोन कॉल को उन्होंने महज शिष्टाचार बताया, लेकिन यह भी स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी तानाशाही के खिलाफ दृढ़ रुख अपनाएगी। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा ने बालासाहेब ठाकरे और शरद पवार की पार्टियों को तोड़ा, करोड़ों में विधायक और सांसद खरीदे और अब उन्हीं दलों से वोट मांग रही है। राउत ने कहा कि चूंकि उपराष्ट्रपति चुनाव में दोनों उम्मीदवार दक्षिण भारत से हैं, इसलिए आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के सांसदों में असंतोष है। भाजपा को डर है कि वे राहुल गांधी द्वारा बनाए गए माहौल के चलते विपक्षी उम्मीदवार के पक्ष में मतदान कर सकते हैं। मुख्यमंत्री फडणवीस द्वारा महाराष्ट्र के सांसदों से सी.पी. राधाकृष्णन को समर्थन देने की अपील पर राउत ने तंज कसा, “फडणवीस हमें चाणक्यगिरी न सिखाएं। अगर कोई मराठी उम्मीदवार होता, तो चर्चा की गुंजाइश रहती। हम संविधान का पालन करते हैं, आप उसे रौंदते हैं। इस बीच, राउत ने एमएनएस अध्यक्ष राज ठाकरे और फडणवीस के बीच हुई बैठक को सकारात्मक बताया और कहा कि प्रवासियों की समस्याओं और सामाजिक मुद्दों पर ऐसी बैठकें जारी रहनी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री सभी दलों के लिए समान होने चाहिए। भारत-पाकिस्तान क्रिकेट मैच को लेकर राउत ने भाजपा और केंद्र सरकार पर हमला बोला। उन्होंने कहा, “अमित शाह का बेटा क्रिकेट का मास्टरमाइंड है। अगर ये मैच महाराष्ट्र या देश में होते, तो हमारी शिवसेना उन्हें रोकती। भाजपा की देशभक्ति का ढोंग उजागर हो गया है, क्योंकि इन मैचों में उनका पैसा लगा है।