
मराठवाड़ा और राज्य के अन्य हिस्सों में बाढ़ और भारी बारिश से प्रभावित किसानों को तत्काल मदद देने की अपील
मुंबई। शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने शनिवार को महाराष्ट्र सरकार से किसानों का पूरा कर्ज माफ करने और मराठवाड़ा सहित राज्य के अन्य बाढ़ प्रभावित इलाकों के किसानों को प्रति हेक्टेयर 50,000 रुपये की वित्तीय सहायता देने की मांग की। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में ठाकरे ने शनिवार को कहा- मैं किसानों की ओर से मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से हाथ जोड़कर विनती करता हूं कि किसानों का कर्ज माफ करें और तुरंत प्रति हेक्टेयर 50,000 रुपये की सहायता की घोषणा करें। यह मदद तय समयसीमा में वितरित की जानी चाहिए। बैंकों द्वारा किसानों को भेजे जा रहे कर्ज वसूली नोटिस भी बंद किए जाएं।
सरकार पर देरी और अपर्याप्त मदद का आरोप
ठाकरे ने कहा कि मराठवाड़ा में भारी बारिश और बाढ़ ने तबाही मचाई है, और लगातार बारिश से नुकसान और बढ़ सकता है। उन्होंने राज्य सरकार के “देर से और अपर्याप्त जवाब” की आलोचना करते हुए कहा कि मौजूदा प्रति हेक्टेयर 7,000-8,000 रुपये की सहायता किसानों की टूटी-बिखरी ज़िंदगी को पटरी पर लाने के लिए बहुत कम है।
उन्होंने सवाल किया, कर्जदार किसान अपना कर्ज कैसे चुकाएंगे? सरकार को पूरा कर्ज माफ करना चाहिए।
महायुति सरकार पर हमला
ठाकरे ने भाजपा नेतृत्व वाली महायुति सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि पिछले कुछ वर्षों में घोषित 14,000 करोड़ रुपये की सहायता किसानों तक नहीं पहुंची। उन्होंने आरोप लगाया कि 2017 में फडणवीस सरकार की कर्जमाफी योजना भी अधूरी रही। ठाकरे ने कहा, महाराष्ट्र को पंजाब मॉडल अपनाना चाहिए और प्रति हेक्टेयर 50,000 रुपये की सहायता घोषित करनी चाहिए। इस साल का नुकसान किसानों के लिए अगले दो-तीन सालों में भी पूरा नहीं हो सकेगा।
अपने मुख्यमंत्री कार्यकाल का ज़िक्र
अपने कार्यकाल की याद दिलाते हुए ठाकरे ने कहा कि महा विकास अघाड़ी सरकार ने 2019 में सत्ता में आते ही किसानों की कर्जमाफी लागू की थी। उन्होंने कहा, हम संकट के समय कभी निष्क्रिय नहीं बैठे। अगर किसानों के लिए न्याय मांगना राजनीति है, तो मैं यह राजनीति करने को तैयार हूं।
किसानों की आत्महत्या और आक्रोश पर चिंता
उन्होंने कहा कि मराठवाड़ा में लगातार किसानों की आत्महत्या की खबरें आ रही हैं। एक गांव दौरे का जिक्र करते हुए ठाकरे ने बताया, 31 साल के एक युवक ने 2 लाख रुपये के कर्ज से परेशान होकर आत्महत्या कर ली। उसका बच्चा सिर्फ 15 दिन का था। मुख्यमंत्री फडणवीस के हालिया गांव दौरे पर निशाना साधते हुए उन्होंने आरोप लगाया कि जब एक किसान ने राहत के बारे में पूछा तो मुख्यमंत्री ने “राजनीति मत करो” कहकर टाल दिया, जिसके बाद पुलिस ने उस किसान को परेशान किया। ठाकरे ने सवाल उठाया। यह कैसी लोकतंत्र है? किसान मदद मांग रहा है और सरकार उसे परेशान कर रही है?
फसलें सड़ रही हैं, किसान कर्ज माफी की गुहार लगा रहे हैं
ठाकरे ने कहा- स्थिति बेहद खराब है। फसलें बर्बाद हो चुकी हैं। किसानों को उनकी उपज का उचित दाम भी नहीं मिला। अब फसलें सड़ रही हैं और किसान अपनी जान बचाने की गुहार लगा रहे हैं। सरकार को चाहिए कि किसानों का कर्ज तुरंत माफ करे और उन्हें राहत पहुंचाए।