
नई दिल्ली। नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (एनआईए) ने आठ महीने की गहन और वैज्ञानिक जांच के बाद सोमवार को पहलगाम आतंकी हमले के मामले में सात आरोपियों के खिलाफ 1,597 पन्नों की चार्जशीट जम्मू की एक विशेष अदालत में दाखिल की है। गृह मंत्रालय के निर्देश पर जांच अपने हाथ में लेने के बाद दायर इस चार्जशीट में पाकिस्तान स्थित प्रतिबंधित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (LeT) और द रेजिस्टेंस फ्रंट (टीआरएफ़) को एक लीगल एंटिटी के रूप में नामजद किया गया है। चार्जशीट में पाकिस्तान से रची गई साजिश, आरोपियों की भूमिका और हमले से जुड़े ठोस सबूतों का विस्तृत ब्यौरा दिया गया है। एनआईए के अनुसार, इस हमले में पाक-प्रायोजित आतंकवादियों ने धर्म के आधार पर निशाना बनाकर 25 पर्यटकों और एक स्थानीय नागरिक की हत्या की थी। चार्जशीट में पाकिस्तानी हैंडलर आतंकवादी साजिद जट्ट के साथ-साथ ऑपरेशन महादेव के दौरान जुलाई में दाचीगाम, श्रीनगर में मारे गए तीन पाकिस्तानी आतंकवादियों—फैसल जट्ट उर्फ सुलेमान शाह, हबीब ताहिर उर्फ जिबरान और हमजा अफगानी के नाम भी शामिल हैं। LeT और टीआरएफ़ सहित चार आतंकवादियों पर भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) 2023, आर्म्स एक्ट 1959, अनलॉफुल एक्टिविटीज (प्रिवेंशन) एक्ट 1967 के तहत आरोप लगाए गए हैं और भारत के खिलाफ युद्ध छेड़ने से जुड़े गंभीर धाराएं भी जोड़ी गई हैं। एनआईए ने 22 जून को आतंकियों को पनाह देने के आरोप में परवेज अहमद और बशीर अहमद जोथद को गिरफ्तार किया था, जिनके खिलाफ भी चार्जशीट दाखिल की गई है। एनआईए के प्रवक्ता ने कहा कि करीब आठ महीने चली जांच में पाकिस्तान द्वारा भारत के खिलाफ आतंकवाद को प्रायोजित करने की साजिश का पर्दाफाश किया गया है।




