
मुंबई। वनराई पुलिस ने अंतरराज्यीय ट्रक चोरी गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए उसके दो सदस्यों को गिरफ्तार किया है और छह चोरी के ट्रक बरामद किए हैं। यह संगठित गिरोह मुंबई से ट्रक चुराकर उन्हें गुजरात ले जाकर बेच देता था। गिरफ्तार आरोपियों में गिरोह का सरगना जावेद अब्दुल्ला शेख (54) शामिल है, जिसके खिलाफ पुणे, छत्रपति संभाजीनगर, नासिक, धुले और अन्य जिलों में गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। दूसरा आरोपी नरसिंह रूपस्वरूप सिंह (44) इंदौर का निवासी है, जिसे गुजरात के सूरत से पकड़ा गया। 8 जून को गोरेगांव से एक ट्रक चोरी होने की शिकायत मिलने के बाद वनराई पुलिस ने जांच शुरू की। जांच में पता चला कि ट्रक गुजरात ले जाया गया है। सूरत पुलिस की मदद से सिंह को गिरफ्तार कर उसके कब्जे से एक चोरी का ट्रक जब्त किया गया। पूछताछ में उसने खुलासा किया कि यह एक संगठित गिरोह है, जो भारी वाहनों को औद्योगिक इलाकों से चुराता था। गिरोह चोरी किए गए ट्रकों के चेसिस और इंजन नंबर गुजरात के गैरेजों में बदल देता था। इसके बाद वे ट्रकों को फर्जी दस्तावेजों के जरिए गुजरात आरटीओ में पंजीकृत करवाते थे। फर्जी आरटीओ मंजूरी मिलने के बाद ट्रक नए मालिकों को औने-पौने दामों में बेच दिए जाते थे। कई मामलों में ट्रकों पर बैंकों से वाहन ऋण भी लिया गया, जिससे इनकी पहचान को और छिपाया जा सके। वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक गिरीश बाने ने पुष्टि की है कि अभी तक छह ट्रकों की बरामदगी हो चुकी है और गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश जारी है। यह मामला वाहन चोरी, जालसाजी, धोखाधड़ी और सरकारी तंत्र में भ्रष्टाचार की मिलीभगत को उजागर करता है। पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि कितने आरटीओ अधिकारी इस धोखाधड़ी में शामिल थे और कितने ट्रकों को फर्जी तरीके से पंजीकृत किया गया है।