
मुंबई। मुंबई में एक सोने के व्यापारी के साथ 1 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी का सनसनीखेज मामला सामने आया है। आरोपी ने व्यापारी का भरोसा जीतने के लिए उसके खाते में केवल 1 रुपया ट्रांसफर किया और फिर नकद में लिए गए पूरे 1 करोड़ रुपये लेकर फरार हो गया। लोकमान्य तिलक (एलटी) मार्ग पुलिस ने इस मामले में एफआईआर दर्ज कर दो आरोपियों- प्रदीप मधु पवार (45) और दिपेश अशोक बाजेपी को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि अन्य फरार सहयोगियों की तलाश की जा रही है। पुलिस के अनुसार, शिकायतकर्ता परवेज जैन (47), जो अलोवा ज्वेल्स एलएलपी के पार्टनर और सोने के व्यापारी हैं, 9 सितंबर 2025 को घर खरीदने के लिए अपनी कंपनी के खाते में 1 करोड़ रुपये आरटीजीएस से जमा करना चाहते थे। इस सिलसिले में जैन ने अपने कर्मचारी अंकुश सिंह के जरिए प्रदीप पवार से संपर्क किया। प्रदीप ने जैन से बैंक विवरण मांगा और जवाब में अपनी फर्म ‘आर्टमेड हेल्थकेयर प्राइवेट लिमिटेड’ का विवरण साझा किया। उसने जैन को 10 सितंबर को भोलेश्वर स्थित आढ़ती वी. पटेल के ऑफिस में नकद 1 करोड़ रुपये जमा करने को कहा। निर्धारित दिन पर जैन अपने कर्मचारियों जगदीश दोशी और अशोक सरस्वाल के साथ 1 करोड़ रुपये नकद लेकर प्रदीप के एजेंट आनंद के पास पहुंचे। रकम जमा कराने के बाद उन्हें आश्वासन दिया गया कि आरटीजीएस दो घंटे में हो जाएगा। उसी दिन शाम को जैन के खाते में केवल 1 रुपया क्रेडिट हुआ। प्रदीप ने इसे “टेस्ट ट्रांसफर” बताते हुए पूरी रकम रात तक आने का दावा किया, लेकिन अगले दिन भी केवल 1 रुपया ही आया।
12 सितंबर को जब जैन ने पुनः इस मामले का पीछा किया, तो उन्हें जानकारी मिली कि 1 करोड़ रुपये में से 32 लाख रुपये गुजरात के कच्छ भेज दिए गए थे और शेष 68 लाख रुपये मलाड की एक ब्रांच में अटके हुए हैं। जैन ने जब आरोपियों से संपर्क करना चाहा, तो सभी फोन स्विच ऑफ मिले। इसके बाद उन्होंने एलटी मार्ग पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए प्रदीप पवार और दिपेश बाजेपी को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि अन्य आरोपियों– राजू मंडल, मिटेश प्रवीणभाई ठक्कर और एजेंट आनंद की तलाश जारी है। पुलिस का कहना है कि यह एक संगठित ठगी का मामला है और जांच के बाद और भी लोगों के नाम सामने आ सकते हैं।




