
मुंबई। छत्रपति शिवाजी महाराज अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर मंगलवार को कस्टम अधिकारियों ने चेन्नई की एक महिला यात्री को दुर्लभ गिबन की तस्करी करने के प्रयास में गिरफ्तार किया। जांच के दौरान उसके सामान से एक बास्केट में नर और मादा गिबन मिले, जो सांस लेने में तकलीफ झेल रहे थे। दोनों जानवरों को तुरंत रेस्क्यू एसोसिएशन फॉर वाइल्डलाइफ वेलफेयर (RAWW) को सौंपकर अस्थायी चिकित्सा देखभाल दी गई और इलाज के बाद वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 के प्रावधानों के तहत उन्हें उनके मूल देश वापस भेज दिया गया। अधिकारियों ने बताया कि इस तरह की अवैध वन्यजीव तस्करी में शामिल लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है। उल्लेखनीय है कि महाराष्ट्र में यह पहली घटना नहीं है। इसी साल मई में ठाणे वन विभाग ने कोलाबा में छापेमारी कर नौ तस्करी किए गए बंदरों को पकड़ा था, जिनमें आठ मृत और एक जीवित पाया गया था। उस मामले में एक मलेशियाई महिला को हिरासत में लिया गया था। बरामद जानवरों में चार सियामांग गिबन, तीन गोल्डन गिबन और दो पिग-टेल्ड बंदर शामिल थे। गिबन को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विलुप्तप्राय प्रजाति के रूप में वर्गीकृत किया गया है और यह CITES (कन्वेंशन ऑन इंटरनेशनल ट्रेड इन एंडेंजर्ड स्पीशीज़) के परिशिष्ट-I तथा भारत के वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 की अनुसूची-I में सूचीबद्ध है। दक्षिण-पूर्व एशिया के कुछ हिस्सों में पाए जाने वाले ये दुर्लभ जीव अवैध तस्करी और आवास के नुकसान के कारण गंभीर खतरे का सामना कर रहे हैं।