
मुंबई। एंटी-करप्शन ब्यूरो (एसीबी) की मुंबई यूनिट ने मुंबई यूनिवर्सिटी के रिजल्ट डिपार्टमेंट में तैनात 36 वर्षीय सीनियर क्लर्क निकिता राठौड़ को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। आरोप है कि वह मार्कशीट जारी करने के बदले छात्रों से अवैध वसूली कर रही थी। एसीबी के अनुसार, जुलाई 2025 में निकिता राठौड़ ने शिकायतकर्ता से B.Com फाइनल ईयर की मार्कशीट देने के लिए 55,000 रुपए की रिश्वत मांगी थी। शिकायतकर्ता ने मजबूर होकर 18 नवंबर को 15,000 रुपए की रिश्वत दी थी, लेकिन आरोपी क्लर्क लगातार शेष राशि की मांग करती रही। जब शिकायतकर्ता फिर संपर्क में आया, तो राठौड़ ने बातचीत के बाद अंतिम रूप से 10,000 रुपए लेने पर सहमती जताई। शिकायतकर्ता सरकारी कर्मचारी को रिश्वत नहीं देना चाहता था, इसलिए उसने एसीबी में शिकायत दर्ज कराई। इसके आधार पर एसीबी ने सत्यापन और ट्रैप की तैयारी की। ट्रैप ऑपरेशन के दौरान निकिता राठौड़ शिकायतकर्ता से 10,000 रुपए की रिश्वत लेते हुए पकड़ ली गई। गिरफ्तारी के बाद उसके खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की प्रासंगिक धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। एसीबी अधिकारियों का कहना है कि सरकारी विभागों में भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई लगातार जारी रहेगी और किसी भी अधिकारी-कर्मचारी को बख्शा नहीं जाएगा।




